महँगाई की मार: त्यौहारी सत्र में बिगड़ेगा रसोई का बजट
नई दिल्ली, शुक्रवार, 4 अक्टूबर, 2019। बरसात के चलते पहले प्याज, लहसुन, टमाटर व हरी सब्जियों की महँगाई ने आम उपभोक्ताओं की जेब काटी लेकिन अब दालों के दाम बढऩे से इस त्यौहारी सत्र में गृहिणियों की रसोई का बजट बिगड़ गया है। बीते एक सप्ताह में देश के प्रमुख बाजारों में उड़द के दाम में 450-850 रुपये प्रति क्विंटल का इजाफा हुआ है। उड़द के साथ-साथ मूँग, मसूर और चने के दाम में भी वृद्धि हुई है।
बाजार जानकारों की मानें तो दालें और महंगी होंगी क्योंकि बरसात के कारण मध्य प्रदेश में उड़द की फसल को भारी नुकसान हुआ है। वहीं दलहन की बुआई भी इस खरीफ सत्र में पिछले साल से कम होने के कारण उत्पादन कम रहने का अनुमान लगाया गया है।
बारिश और बाढ़ के कारण फसल हुई खराब
बाजार जानकारों ने बताया कि मंगलवार को बाजार में एक अफवाह थी कि सरकार दालों पर स्टॉक सीमा (थोक व खुदरा कारोबारियों के लिए दालों की स्टॉक सीमा) लगाने वाली है, जिससे तमाम दलहनों के दाम में एक दिनी गिरावट रही लेकिन पिछले एक सप्ताह की बात करें तो चना, मूँग और मसूर के दाम में वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि बारिश और बाढ़ के कारण फसल खराब होने और पिछले साल से क्षेत्रफल कम होने से अरहर व मटर को छोड़ बाकी सभी दलहनों में तेजी का रुख है और यह तेजी आगे जारी रही तो मटर और अरहर के दाम में भी इजाफा देखने को मिल सकता है।
ये रहीं उड़द की कीमतें
देश की आर्थिक राजधानी मुम्बई में उड़द की एफ.ए.क्यू. प्रजाति का थोक भाव 5,450 रुपये प्रति क्विंटल था, जो पिछले सप्ताह के मुकाबले 550 रुपये अधिक है। वहीं राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली में एफ.ए.क्यू. का भाव पिछले सप्ताह से 450 रुपये ऊपर 5,400 रुपये प्रति क्विंटल था। चेन्नई में एफ.ए.क्यू. उड़द का दाम 5,650 रुपये और एस.क्यू. प्रजाति के उड़द का भाव 6,775 रुपये प्रति क्विंटल था। चेन्नई में बीते एक सप्ताह में एफ.ए.क्यू. और एस.क्यू. का भाव क्रमश: 600 और 525 रुपये क्विंटल बढ़ा है। कोलकाता में एफ.ए.क्यू. उड़द का भाव बीते एक सप्ताह में 850 रुपये बढ़कर 6,200 रुपये प्रति क्विंटल हो गया।
मूँग के दाम में 100-200 रुपये की वृद्धि
मूँग के दाम में भी विभिन्न शहरों में बीते एक सप्ताह के दौरान 100-200 रुपये की वृद्धि दर्ज की गई है। राजस्थान लाइन मूँग का भाव मंगलवार को दिल्ली में 6,100 रुपये प्रति क्विंटल था। दिल्ली में बीते एक सप्ताह में मूँग के भाव में 200 रुपये प्रति क्विंटल का इजाफा हुआ है। वहीं चने का भाव बीते एक सप्ताह में देश की प्रमुख मंडियों में 25-100 रुपये प्रति क्विंटल बढ़ा है।
मध्य प्रदेश के गंजबसोदा में देसी चने का भाव पिछले सप्ताह के मुकाबले 100 रुपये की वृद्धि के साथ मंगलवार को 4,100 रुपये क्विंटल हो गया। वहीं दिल्ली में राजस्थान लाइन चना 4,325 और मध्य प्रदेश में 4,275 रुपये प्रति क्विंटल था। मसूर का भाव भी बीते एक सप्ताह में जगह-जगह 50 रुपये क्विंटल बढ़ा है। इंदौर में देसी मसूर 4,100 रुपये और कोलकाता में कनाडा से आयातित मसूर 4,250 रुपये क्विंटल था और दाम में एक सप्ताह में 50 रुपये की वृद्धि दर्ज की गई है। दिल्ली में लैमन तुअर यानी अरहर का भाव 5,300 रुपये क्विंटल था और भाव में पिछले एक सप्ताह में कोई खास बदलाव नहीं हुआ है।
फसल वर्ष 2018-19 (जुलाई-जून) के चौथे अग्रिम उत्पादन अनुमान के अनुसार, बीते फसल वर्ष में सभी दलहनों का कुल उत्पादन 234.8 लाख टन रहने का अनुमान है, जबकि कारोबारी बताते हैं कि देश में दलहनों की कुल खपत करीब 240 लाख टन है। यही नहीं, चालू फसल वर्ष 2019-20 के पहले अग्रिम उत्पादन अनुमान के अनुसार, इस साल खरीफ दलहनों का उत्पादन 82.3 लाख टन रह सकता है जबकि पिछले साल के पहले अग्रिम उत्पादन अनुमान में यह आँकड़ा 92.2 लाख टन था।
ऑल इंडिया दाल मिल एसोसिएशन के अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल ने बताया कि सरकारी एजेंसी नैफेड के पास चना और तुअर का भरपूर स्टॉक है और तुअर की नई फसल की आवक भी नवंबर-दिसंबर में शुरू होने वाली है इसलिए दलहनों के दाम अधिक बढऩे की संभावना कम है।
उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में पिछले 40 दिनों से प्रतिदिन बारिश हुई है। बारिश के कारण खेतों में पानी भरा है जिससे मूँग और उड़द 25-30 प्रतिशत नुकसान हुआ है,लेकिन महाराष्ट्र और गुजरात में तुअर कोई नुकसान नहीं होगा। अगर बारिश बंद नहीं हुई तो उड़द और मूँग को और नुकसान हो सकता है, जिससे इनकी कीमतों में 5-10 प्रतिशत इजाफा हो सकता है।
प्याज के बाद अब दालों के दाम में आई तेजी