नयी दिल्ली। भारत अफ्रीका के साथ कपास के क्षेत्र में सहयोग मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध है। स्मृति जूबिन इरानी, केन्द्रीय कपड़ा मंत्री ने जिनेवा में सोमवार, 7 अक्टूबर 2019 को विश्व कपास दिवस के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए यह बात कही।
उन्होंने कहा कि भारत अफ्रीका के साथ विशेषकर कपास के क्षेत्र में अपने सहयोग को मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने अफ्रीका के लिए कपास प्रौद्योगिकी सहायता कार्यक्रम (टीएपी) के दूसरे चरण की घोषणा की। दूसरा चरण पाँच वर्षों का होगा। कार्यक्रम के कवरेज को विस्तार दिया जाएगा और इसमें पाँच अन्य देशों- माली, घाना, टोगो, जाम्बिया और तन्जानिया को शामिल किया जाएगा।
कपास प्रौद्योगिकी सहायता कार्यक्रम (टीएपी) में शामिल होने वाले देशों की संख्या 11 हो गई हैं। इनमें सी-4 (बेनिन, बुर्किना फासो, चाड और माली) भी शामिल हैं। भारत ने 2012 से 2018 तक कपास प्रौद्योगिकी सहायता कार्यक्रम (टीएपी) संचालित किया था। इसमें 6 अफ्रीकी देश (बेनिन, बुर्किना फासो, चाड, मालावी, नाइजीरिया और युगांडा) शामिल थे।
श्रीमती इरानी ने कहा कि भारत ने अफ्रीका के किसानों, वैज्ञानिक, सरकारी अधिकारियों और उद्योग जगत के प्रतिनिधियों के क्षमता निर्माण के लिए प्रशिक्षण प्रदान किया है। इस प्रकार कपास के कृषि और वस्त्र आयामों को भी मजबूत बनाया गया है। कपास संबंधी अवसंरचनाओं का भी निर्माण किया गया है।
भारत अफ्रीका के साथ कपास के क्षेत्र में सहयोग मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध: स्मृति जूबिन इरानी